आज दिनाक को विकास खंड देवरिया सदर के ग्राम सभा सिंगही में लछमी महिला प्रेरणा संगठन के द्वारा झंडा रोहण के बाद जल सरक्षण और बेटी बचाओ पर गोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमे बताया गया की बेटा-बेटी दोनों का ही महत्व, कर्तव्य, आवश्यकता व अधिकार समान है। दोनों ही समाज के आवश्यक अंग हैं। फिर भी आज कन्या भ्रूण हत्या विकराल रूप धारण किये हुए है। भारत विकास परिषद् जहाँ युवाओं को संस्कारित करने को कटिबद्ध है, वहीं बेटियों को मरने से बचाने में भी पीछे नही। भारत पुरुष प्रधान समाज रहा है, पुत्र वंश चलाता है, स्वर्ग दिखाता है, बुढ़ापे का सहारा आदि मान्यताओं से शिक्षित वर्ग भी अछूता नहीं है। सभी जानते हैं कि सृष्टि के चक्र को अविरल चलाने को माँ, राखी बांधने को बहिन, कहानी सुनाने को दादी, जिद पूरी करने को मौसी, खीर खिलाने को भाभी, जीवन साथी हेतु पत्नी इन जरूरतों को पूरा करने हेतु बेटी को जिन्दा रहना जरूरी है। कन्या भ्रूण हत्या से समाज की गति रूक जाएगी। अतः इसे रोकना आवश्यक ही नहीं हमारी नैतिक जिम्मेदारी भी है। इसके लिए भारत विकास परिषद् समाज को जागरूक करने के लिए बेटी के जन्म पर कुंआ पूजन, आनन्द उत्सव आदि का आयोजन उन परिवारों में करवा कर प्रशंसा पत्र एवं स्मृति चिन्ह देकर एक नई सामाजिक जागृति का प्रयास कर रहा है।
जन्म के बाद बेटी का पालन-पोषण-शिक्षा, माता-पिता की जिम्मेदारी है। विवाह के बाद नये रिश्तों को तन-मन से स्वीकारती है बेटी। बेटी को शिक्षित करना, पूरे परिवार को शिक्षित करना है, बेटी बड़ी होकर पत्नी -माँ बन परिवार को संजोती है। वो जन्मदात्री ही नहीं चरित्र निर्मात्री भी है। एक शिक्षित बेटी पूरे परिवार को नई दिशा, रोशनी व नया परिवेश देती है इस अवसर पर ब्लॉक मिशन प्रबंधक सदानंद तिवारी, श्वेता तिवारी पूनम गुप्ता , दिपतेश सिंह और कमलेश ओझा ,बृजभूषण पांडेय और ग्राम संगठन से श्रीमती ,अंजू आदि उपस्थित रहे।
0 टिप्पणियाँ